गोरखपुर। दीवानी न्यायालय के पूर्व वरिष्ठ अधिवक्ता स्मृतिशेष ओंकारनाथ मिश्रा की प्रथम पुण्य तिथि पर कल्पवास बेतियाहाता में स्मरणांजलि सभा हुई। ओंकारनाथ मिश्रा स्मृति संस्थान के तत्वावधान मे आयोजित कार्यक्रम में ख्याति प्राप्त अधिवक्ता के व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर चर्चा की गई। समाजहित में उनकी भूमिका व समाज सेवी के रूप में किए कार्यों पर प्रकाश डाला गया। ओंकार नाथ स्मृति में आगे भी विविध कार्यक्रम आयोजित करने का निर्णय लिया गया। विद्यार्थियों के साथ विधि व कानून का अध्ययन करने वालों को प्रोत्साहित व सामाजिक कार्यों को बढ़ावा दिया जाएगा।
आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पंडित सतीश चंद्र त्रिपाठी ने कहा कि अधिवक्ता के रूप में अपने योगदान व उचित भूमिका निर्वहन के कारण सदैव याद किए जाएंगे। विनम्र, मृदुल स्वभाव के धनी रहे। उनकी पुण्यतिथि पर मानवहित में जो सेवा कार्य करने का संकल्प लेना पुनीत कार्य है। वक्ताओं ने कहा कि यदि हम उनके आदर्शों पर चले और योजना बनाकर वर्ष भर समाज उत्थान में क्रियाशील रहें, यही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी। व्यक्ति कृति रुपी शरीर से विद्यमान रहता है यही अमरत्व की अवस्था है। आत्मा अमर और अविनाशी है। उनके असामयिक निधन से अपूर्णनीय क्षति हुई। इससे पूर्व सुंदरकांड पाठ करके चित्र पर पुष्प अर्चन व शांति पाठ हुआ। अंत में गीता श्लोक फिर शांति पाठ हुआ। कार्यक्रम संयोजक अविनाश नाथ मिश्रा व सुप्रीम कोर्ट के एडवोकेट आन रिकार्ड अनुपम मिश्रा ने सभी के प्रति आभार जताया।
कार्यक्रम में सिविल जज अश्वनी शर्मा, सुप्रीम कोर्ट एडवोकेट आनरिकॉर्ड अनुपम मिश्रा, अशोक नारायण धर दूबे एडवोकेट, नरेंद्र धर द्विवेदी एडवोकेट, उप संपादक गंभीर समाचार विवेक शुक्ला, विष्णु नारायण शुक्ला, जितेन्द्र मिश्रा विधि विभाग दीदउ गोविवि , अनूप, पूर्व अध्यक्ष बार एसोसिएशन भानू प्रताप पांडेय, इंडियन जर्नलिस्ट एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष सेराज अहमद कुरैशी, इंडियन जर्नलिस्ट एसोसिएशन महिला विंग की राष्ट्रीय अध्यक्ष सीमा द्विवेदी, यदुनाथ त्रिपाठी, सच्चिदानंद एडवोकेट, अखिलेश्वर धर द्विवेदी, दीपक त्रिपाठी आदि सहित परिवार के सदस्य, अधिवक्ता , जनप्रतिनिधि व गणमान्य नागरिक मौजूद रहे।