
Maharajganj- On whose instigation was sand smuggling done in the dark nights?
Maharajganj सिसवा बाजार-महराजगंज। कोठीभार थानाक्षेत्र के रानीपु मझौवा के पास नदी में शनिवार की रात खनन अधिकारी व पुलिस की संयुक्त टीम की छापेमारी में अवैध बालू की तस्करी का मामला सामने आने के बाद सवाल उठने लगा है कि आखिर किस के शह पर काली रात में बालू खनन कर तस्करी का खेल चल रहा था!
कोठीभार थानाक्षेत्र में पड़ने वाली यह नदी महराजगंज व कुशीनगर दोनों जिलों की बांटने वाली नदी है और बेलवा घाट से लेकर घुघली क्षेत्र तक एक ही बल्कि कई अवैध घाट बने हुए है, जानकारी के अनुसार दोनों जिलों के बालू तस्कर इस नदी से नाव के द्वारा खुलेआम बालू का खनन करते है, जिले के अधिकारी अगर कार्यवाही करते है तो यह खेल रात में शुरू हो जाता है और काली अंधेरी रात में पूरी रात बालू खनन का खेल चलता है और तड़के सुबह तक वहां से बालू को अन्यत्र भेज दिया जाता है।
बालू खनन से अंजान थे या फिर…
यहां सवाल यह उठता है कि इतने बड़े खेल से क्या उस हल्के के पुलिस अधिकारी व पुलिसकर्मी अंजान थे, कि उनके क्षेत्र में बड़े पैमाने पर बालू का अवैध खनन हो रहा है?, या फिर सब जान कर अंजान बने हुए थे।
यहां पहले भी हो चुकी है कार्यवाही
इस नदी में हो रहे अवैध बालू खनन पर यह कोई पहली कार्यवाही नही है बल्कि कई बार अधिकारियों ने कार्यवाही ही नही किया है बल्कि नाव को भी तोड़ा है फिर भी यहां अवैध खनन बंद होने का नाम नही ले रहा है।
आखिर नदी में नाव का क्या काम
सवाल तो यहां यह भी उठता है कि इस नदी में नाव से आवागमन नही होता फिर भी इस नदी में कई नाव देखें जा सकते है, ऐसे में जब नाव से आवागमन नही होता तो आखिर नाव किस लिए मौजूद है।